बिहार डेस्क l केएमपी भारत l पटना
आरा | पर्युषण महापर्व के समापन अवसर पर सोमवार को महाजन टोली नंबर दो स्थित श्री दिगंबर जैन पंचायती मंदिर प्रांगण में क्षमावाणी महापर्व का भव्य आयोजन हुआ। मुनि श्री 108 विशल्यसागर जी महाराज ससंघ के सानिध्य में हुए इस कार्यक्रम में सुबह से ही श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी।
परंपरागत विधि-विधान के साथ प्रतिमा जी का जलाभिषेक, पंचामृत अभिषेक, मंगल आरती, पुष्पवृष्टि, शांतिधारा, स्वयंभू स्त्रोत, देव-शास्त्र-गुरु पूजन, पार्श्वनाथ पूजा, क्षमावाणी पूजा और जयमाला जैसे अनुष्ठान सम्पन्न हुए। प्रथम जलाभिषेक का सौभाग्य अशोक कुमार जैन, शांतिधारा का रत्ना-कमलेश जैन एवं जयमाला का मधु-विमलेश जैन परिवार को प्राप्त हुआ।
अपने प्रवचन में मुनिश्री विशल्यसागर जी ने कहा कि क्षमा का भाव केवल बोलने से नहीं, बल्कि व्यवहार और आचरण में होना चाहिए। उन्होंने कहा – “क्षमा वीरों का आभूषण है। शक्तिवान होकर भी दूसरों को क्षमा करना ही सच्ची क्षमा है।”
मीडिया प्रभारी निलेश कुमार जैन ने बताया कि संघस्थ ब्रह्मचारी अनिष भैया ने दशलक्षण के 11 दिन का उपवास रखा। वहीं समाज के विमलेश कुमार जैन और उनकी पुत्रवधू अन्नू जैन के सोलहकारण व्रत के उपलक्ष्य में शोभायात्रा निकाली गई और उनका सम्मान हुआ।
कार्यक्रम के समापन पर साधर्मी वात्सल्य का आयोजन स्व. शशिलता-ज्ञान चंद्र जैन की पुण्य स्मृति में किया गया। इस अवसर पर आकाश जैन, अजय जैन, कमलेश जैन, रीना जैन, डॉ. आदित्य विजय जैन, बिभु जैन, धीरेन्द्र चंद्र जैन, डॉ. शशांक जैन समेत बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।